+91-8989540544
Posted on : 20 Sep 2021
जानिए पूर्णिमा श्राद्ध से लेकर अमावस्या श्राद्ध तक विस्तृत वर्णन - पूर्णिमा श्राद्ध – 20 सितंबर प्रतिपदा श्राद्ध – 21 सितंबर द्वितीया श्राद्ध – 22 सितंबर तृतीया श्राद्ध – 23 सितंबर चतुर्थी श्राद्ध – 24 सितंबर पंचमी श्राद्ध – 25 सितंबर षष्ठी श्राद्ध - 26 सितम्बर षष्ठी श्राद्ध – 27 सितंबर (कपिला षष्ठी) षष्ठी का श्राद्ध दौनों दिन मान्य है सप्तमी श्राद्ध – 28 सितंबर अष्टमी श्राद्ध- 29 सितंबर नवमी श्राद्ध – 30 सितंबर दशमी श्राद्ध – 1 अक्तूबर एकादशी श्राद्ध –2 अक्टूबर द्वादशी श्राद्ध- 3 अक्टूबर त्रयोदशी श्राद्ध – 4 अक्टूबर चतुर्दशी श्राद्ध- 5 अक्टूबर अमावस्या श्राद्ध --6 अक्टूबर सर्व पित्रमोक्ष स्नान दान श्राद्ध इस 15 दिन के पितृपक्ष में रखे निम्न सावधानिया - इन 15 दिनों में हमारे पूर्वज धरती पर आते है इसलिए ऐसा कोई काम नहीं करे जिससे हमारे पूर्वज नाराज हो जाये 1- गलती से भी सूर्यास्‍त के बाद श्राद्ध न करें. ऐसा करना शुभ नहीं होता है. 2- इस दौरान बुरी आदतों, नशे, तामसिक भोजन से दूर रहें. पितृ पक्ष में नॉनवेज एवं शराब जैसे पदार्थो का सेवन नहीं करना चाहिए 3 - जो व्यक्ति पिंडदान आदि करता है उसे ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए एवं बाल नाख़ून आदि नहीं काटने चाहिए 4 - इन दिनों किसी पशु पक्षी को नहीं सताए ऐसा नुकसान दायक रहता है

Related posts

Request a callback